Page Nav

HIDE

Grid

GRID_STYLE

Pages

Classic Header

{fbt_classic_header}

Top Ad

खदान में काम ना देने और डराने धमकाने से ग्रामीणों में असंतोष

• स्थानीय को रोजगार ना देकर बाहरी मजदूर और जेसीबी से करवाया जा रहा काम • एकमत होकर महिला के पिता को ग्रामीणों को रोजगार देने की शर्त पर दिया...

स्थानीय को रोजगार ना देकर बाहरी मजदूर और जेसीबी से करवाया जा रहा काम

• एकमत होकर महिला के पिता को ग्रामीणों को रोजगार देने की शर्त पर दिया था खदान

• छापर भानपुरी की गिट्टी खदान की संचालिका से ग्रामीणों में आक्रोश

•बलात्कार के मामले में फंसाने की दी धमकी : ग्रामीण

• पंचायत पर राजनीतिक दबाव बनाने की करती हैं कोशिश : सरपंच



जगदलपुर : ग्राम पंचायत छापर भानपुरी के ग्रामीणों और स्थानीय जनप्रतिनिधियों ने गांव में ही चल रहे एक गिट्टी खदान में स्थानीय मजदूरों को निकालकर बाहरी मजदूरों को रखने के विरुद्ध लामबंद आंदोलित दिखाई दिए। ग्रामीणों का आरोप है कि आज से कुछ दिन पहले जब ग्रामीण मजदूरी करने खदान पहुंचे तब उन्हें यह कहकर वहां से जाने को कहा गया कि अब तुम लोग यहां काम करने मत आना। इसको लेकर ग्रामीणों ने जब अपना पक्ष रखना चाहा तो ग्रामीणों की कथनानुसार उनके खिलाफ बलात्कार का आरोप लगाकर फंसाने की धमकी देती है।


स्थानीय सरपंच मुन्ना कश्यप ने जानकारी दी कि कई वर्षों पूर्व जब इस खदान का आवंटन किया गया तब ग्रामीणों ने एकमत होकर संतोष पवार को उनके व्यवहार और ग्रामीणों के साथ तालमेल बनाकर रखने की वजह से यह खदान दिया गया था। लेकिन उनकी बेटी योगिता पवार ने जबसे खदान का कार्य संभाला है तब से ही लगातार वे ग्रामीणों के साथ विवाद कर रही हैं।


विवादों के निपटारे के लिए जब पंचायत स्तर पर हम उन से चर्चा करना चाहते हैं तो हमारे पास अलग-अलग लोगों का फोन आता है, जिसमें हम पर राजनैतिक दबाव बनाकर उनके मामलों से दूर रहने को कहा जाता है। जबकि इनके पिता जब यहां की खदान चला चलाते थे, तब उनका व्यवहार सभी के साथ अच्छा था। वह सभी ग्रामीणों के सुख दुख में भी शामिल होते थे और सबको लेकर चलते थे। इसी वजह से आज बड़ी संख्या में आए मजदूर संचालिका योगिता पवार से बार-बार आग्रह करते रहे कि वह आज अपने पिता को बुलवाएं ताकि मजदूर अपनी बात कह सकें। लेकिन अंत तक उन्होंने अपने पिता संतोष पवार से मजदूरों को नहीं मिलने दिया और स्थानीय सरपंच व मजदूरों से बहस करती रहीं।


वहीं बहस करते हुए योगिता पवार ने आरोप लगाया कि एक रोज स्थानीय ग्रामीणों ने बड़ी संख्या में शराब के नशे में उन्हें घेर लिया था। जिस पर ग्रामीणों ने उनके आरोप को नकारते हुए हमें बताया कि जब भी उनका मन होता है, वह ऐसे ही अनाप-शनाप आरोप लगाकर यहां का माहौल खराब करने की कोशिश करती हैं। कई लोगों को झूठे रेप केस में फंसाने की धमकी दी हैं।


आज हुए खदान विवाद में ग्रामीणों ने मीडिया और पुलिस को बुलाया था ताकि वह ग्रामीणों पर कोई भी मनगढ़ंत आरोप न लगा सके। एक ग्रामीण ने अपनी जमीन के कागजात लाकर दावा किया कि खदान संचालित हो रही जमीन असल में उनके नाम पर है। संचालक संतोष पवार से अच्छे संबंध होने की वजह से उसने जमीन पर खदान चलाने के लिए उसे दिया था। उन्होंने कहा आज जब उनकी पुत्री ग्रामीणों के साथ ऐसा बर्ताव कर रही हैं तो मैं चाहता हूं कि मेरी भूमि में इतने वर्षों से जो खदान चल रहा है उसके एवज में मुझे उसका किराया दिया जाए।

No comments