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खबर का असर : छापर भानपुरी के गिट्टी खदान पर हुई सीमांकन की कार्यवाही

जगदलपुर (विमलेंदु शेखर झा) : विकासखंड तोकापाल के अन्तर्गत आने वाले ग्राम पंचायत छापर भानपुरी में विगत कुछ समय से गिट्टी खदान की संचालिका और...

जगदलपुर (विमलेंदु शेखर झा) : विकासखंड तोकापाल के अन्तर्गत आने वाले ग्राम पंचायत छापर भानपुरी में विगत कुछ समय से गिट्टी खदान की संचालिका और ग्राम पंचायत के प्रतिनिधियों और ग्रामीणों के बीच विवाद की स्थिति बनी हुई थी। पिछले दिनों प्रिंट, इलेक्ट्रॉनिक, सोशल मीडिया और न्यूज पोर्टल्स के द्वारा छापर भानपुरी में गिट्टी खदान के विवादों के बारे में समाचारों के माध्यम से दिखाया गया था।



विगत दिनों इस कार्यवाही के समय ग्रामीणों व संचालिका के मध्य काफी गहमागहमी एंव विवाद की स्थिति उत्पन्न हो गई थी, जिसके परिणाम स्वरूप ग्राम पंचायत के सरपंच द्वय मुन्ना कश्यप एंव जीवनाथ मौर्य अपने पंचायत के प्रतिनितिधियों एवं ग्रामीणों के साथ मिलकर संभाग आयुक्त व कलेक्टर बस्तर से इस पूरे मामले की लिखित एंव  मौखिक शिकायत भी की थी। जिसके परिणामस्वरूप आज दिनांक 24 अगस्त के दिन तहसील कार्यालय तोकापाल से आर आई एंव पटवारी के द्वारा विवादित खदान भूमि का सीमांकन किया गया। जिस पर पंचनामा भी बनाया गया। जिसे हमारे वीडियो में अवलोकन कर सकते हैं तथा सरपंच और स्थानीय लोगों की प्रतिक्रिया भी देख सकते हैं।

"उल्टा चोर कोतवाल को डांटे" कहावत चरितार्थ :
बतादें कल हुई जांच में जो खुलासे हुए उसके तहत विगत दिनों कुछ मीडिया समूहों द्वारा लगातार सरपंचों द्वारा किए जा रहे अवैध उत्खनन की खबरें प्रकाशित की जा रही थी। जिसे आज प्रशासनिक जांच में आरोप को ही बेबुनियाद सिद्ध कर दिया, बल्कि विवादित संचालिका पर स्वीकृत क्षेत्र से कहीं अधिक जमीन पर अवैध उत्खनन के आरोप ग्रामीणों द्वारा लगाए जा रहे हैं। जिसे जांच करने का आश्वासन आए हुए सरकारी अधिकारियों ने दिया है। इससे यह साबित होता है कि अपनी रसूख का उपयोग करके कितने भी आरोप लगाए जाएं लेकिन लोकतंत्र में गरीब जनता के साथ न्याय के लिए भारतीय संविधान हमेशा सुदृढ़ है।




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